अगर अच्छा जीवन साथी चाहिये तो इस पुष्य नक्षत्र को ये करें

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पुष्य नक्षत्र  में किया गया मंत्र जाप व अनुष्ठान का फल कई गुना बढ़ जाता हैं पुष्य से पुष्य तक लगातार इन 27 दिनों में किया गया जाप एक संपूर्ण पुष्चरण या यू कहें कोर्ष हो जाता है  मंत्र  शक्ति की पूरी  कृपा आप पर  बरसती है इस बार नवरात्रा की नवंमी और पुष्य नक्षत्र  जो शुभदायक हैं इसलिए मंत्र और अनुष्ठान की शुभता में कई गुना बढ़ोतरी होगी अगर किसी व्यक्ति की शादी में किसी भी कारण से विलम्ब हो रहा है या तय होने के बाद बार-बार टूट जाता हैं खासकर वे जिनको अच्छा पार्टनर नहीं मिल पा रहा है या मन के अनुकूल नहीं मिल पा रहा है तो 27 दिन तक बताये गये मंत्र व अनुष्ठान विविध पूर्वक करे तो निश्चय ही उनकी कामना पूर्ण    होगी:-

लड़के ये करे

पुष्य नक्षत्र से रोजाना सुबह 4 बजे उठकर शुद्ध होकर सुबह 5 या 5.15 के बीच माॅं दुर्गा के सामने लाल आसन बिछाकर बैठे तथा लाल कनेर का फूल, गुलाब का फूल, पुष्प माला, गुलाब का इत्र, तुलसी, चुनरी, गुग्गल धूप, अष्ट गंध, प्रसाद में नारियल, मेवा, पेड़ा, गुलकन्ध चढ़ाये व गाय के घी का दीपक करे तत्पश्चात् मूंगे की माला से प्रतिदिन 27 माला निम्न  मंत्र का जाप करे:-

    पत्नी मनोरमाम् देहि मनोवृतानुसारिणिंम्    ।
    तारिणिंम् दुर्ग संसार सागरस्य कुलोद्भवाम् ।।

इस मंत्र जाप के बाद पांच माला नमः शिवाय की करे जाप से पूर्व अपने सामने ताम्बे की कटोरी में गंगाजल व उसमें एक रूद्राक्ष रखे जाप के बाद यह पानी पी लेवे और समापन के बाद इस रूद्राक्ष को धारण करे तथा कनेर व गुलाब फूल अपने जेब में रख लेवे ।  समापन पर बालिकाओ व बटुक को भोजन करावे, दक्षिणा देवे, पैर छूकर आशिर्वाद लेवे ।

लड़किया ं ये करे
उक्त विधि के साथ सामग्री में माॅं को सिन्दूर, मेहन्दी, बिन्दिया, लाल चूंडिया, नोज पिन, चढ़ाये तथा गुलाब जल व मिश्री युक्त शर्बत चढ़ाये ।  स्वयं रोजाना नये पीले कपड़े पहने ।  रूद्राक्ष की माला से निम्न मंत्र की 27 माला का जाप करे:-

    कात्यायनी महामायै महायोगिन्य धीश्वरी ।
    नन्दगोप सुतं देवी पती में कुरूते नमः ।।

    हे गौरी शंकरार्धांगी यथा त्वं शंकर प्रिया ।     
    तथा मां कुरू कल्याणी कान्तकान्ताम् सुदुर्लभाम ।।

तत्पश्चात् 5 माला नमः शिवाय की करे ।  जाप से पूर्व चाॅंदी की कटोरी में गंगाजल में एक रूद्राक्ष रखे और प्रतिदिन  वो पानी पीये और समापन के पश्चात् रूद्राक्ष धारण कर लेवे ।

इसमें ध्यान रखने योग्य खास बात यह हैं कि आरती रोजाना अवश्य करे तथा माता के अंगरक्षक  भैरव बाबा कलयुग में शीध्र फल देते इसलिए के निमत दो लड्डू अवश्य चढ़ावे जिससे बाद में श्वान यानि कुत्तो को डाल देवे। तो इसबार पुष्य नक्षत्र  को शुरू करें औार आप भी फायदा उठाएं ।

प्रहलाद औझा ‘भैंरू‘
ज्योतिषि एवं भैरव साधक
मोबाइल नं0 9460502573

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